राज्य सरकार व परिवहन विभाग की लापरवाही से परेशान हो रहे बस यात्री : संजय गुसांई
सचिन शर्मा
देहरादून। दिल्ली NCR में उत्तराखण्ड परिवहन निगम की 288 बसों के संचालन पर रोक लगा दी गई है जिसमें यात्रियों को काफी मुसीबतों का सामना करना पड़ेगा रोड़वेज कर्मचारी संयुक्त परिषद हरिद्वार शाखा मंत्री संजय गुसांई का कहना है कि दिल्ली सरकार के द्वारा उत्तराखण्ड सरकार एवं परिवहन निगम को तीन चार बार मोहलत भी दी गई थी उसके बावजूद भी उत्तराखण्ड सरकार एवं परिवहन निगम के आला अधिकारी कुंभकरण की नींद मैं सोते रहे और अपनी पर्याप्त मात्रा मैं बसें भी नहीं खरीद पाए आज उत्तराखण्ड परिवहन निगम के आला अधिकारियों की लापरवाही एवं घटिया रणनीति की वजह से परिवहन निगम को गड्ढे की और धकेला जा रहा है जबकि उत्तराखण्ड परिवहन निगम की बसें अपने आप मैं अच्छी आय अर्जित करने मैं भी सक्षम हैं और हमारी बसें केवल एक बस या सुलभ यात्रा तक ही सीमित नहीं है यह हमारे राज्य की शान भी है इससे हमारे राज्य की पहचान होती है और परिवहन निगम हजारों कर्मचारियों के रोजी रोटी का जरिया भी है और इससे सभी कर्मचारियों के परिवारों का भरण पोषण भी होता है बाहरी राज्यों मैं हमारे उत्तराखण्ड के प्रवासी जब अपने राज्य की शान को देखते हैं तो उनको एक अलग ही खुशी महसूस होती है और वह यात्रा के लिए पहली प्राथमिकता अपने राज्य की शान को ही देते हैं उत्तराखण्ड सरकार ने यूरो–6 की मात्र 130 नई बसों की खरीद करी है जो कि परिवहन निगम के बस बेड़े के हिसाब से बिल्कुल ना के बराबर है उन 130 बसों मैं भी 107 बसें तो कुमाऊं मंडल को आवंटित कर दी गई है और मात्र 23 बसें गढ़वाल मंडल को आवंटित की गई है जिसमें हमारे हरिद्वार डिपो को एक भी बसें नहीं मिली है जबकि हरिद्वार एक धर्म नगरी के साथ साथ चारों धामों का मुख्य द्वार भी है यहां पर देश विदेश से अत्यधिक मात्रा मैं पर्यटकों का भी आवा गमन होता है धामी सरकार की 130 बसें परिवहन निगम को मंदिर के प्रसाद के जैंसी साबित हुई है उत्तराखण्ड परिवहन निगम के सभी कर्मचारियों ने धामी सरकार एवं परिवहन निगम के आला अधिकारियों की घटिया रणनीति पर भारी आक्रोशित होकर नाराजगी जाहिर की हैं इस घटिया रणनीति का खामियाजा उत्तराखण्ड धामी सरकार को आने वाले 2027 राज्य सभा के चुनाव में देखने को मिलेगा।